Andhere Mein Jo Baithe Hai
महेंद्र कपूर
उत्तर दक्षिण पूरब पश्चिम
उत्तर दक्षिण पूरब पश्चिम
जिधर भी देखु में अंधकार अंधकार
अंधेरे में जो बैठे हैं
नज़र उन पर भी कुछ डालो
अंधेरे में जो बैठे हैं
नज़र उन पर भी कुछ डालो
अरे ओ रोशनी वालों
बुरे इतने नहीं हैं हम
ज़रा देखो हमें भालो
अरे ओ रोशनी वालों
कफ़न से ढंक कर बैठे हैं
हम सपनों की लाशों को
जो किस्मत ने दिखाए
देखते हैं उन तमाशों को
कफ़न से ढंक कर बैठे हैं
हम सपनों की लाशों को
जो किस्मत ने दिखाए
देखते हैं उन तमाशों को
हमें नफ़रत से मत देखो
ज़रा हम पर रहम खालो
अरे ओ रोशनी वालों
अंधेरे में जो बैठे हैं
नज़र उन पर भी कुछ डालो
अरे ओ रोशनी वालों
हमारे भी थे कुछ साथी
हमारे भी थे कुछ सपने
हमारे भी थे कुछ साथी
हमारे भी थे कुछ सपने
सभी वो राह में छूटे
वो सब रूठे जो थे अपने
सभी वो राह में छूटे
वो सब रूठे जो थे अपने
जो रोते हैं कई दिन से
ज़रा उनको भी समझा लो
अरे ओ रोशनी वालों
अंधेरे में जो बैठे हैं
नज़र उन पर भी कुछ डालो
अरे ओ रोशनी वालों
Written by: MANIAN PRADEEP, O P Nayyar, ONKAR PRASAD NAYYAR, pradeepLyrics © Royalty NetworkLyrics Licensed & Provided by LyricFind
Create your own version of your favorite music.
Sing now