Tu Kahan

अलीशा चिनाई

मैं भूल जौ तुम्हे अब यही मुनासिब हे मगर भूलना चाहू तो किस तरह के तुम तो हक़ीकत थे कोई ख़्वाब ना थे पहली नज़र में मैने ये जाना इक दूजे के लिए बने थे हम अंजानो की तरह तुम खो गये क्यूँ दिल की रहो से गुम हो गये कैसे ये गुम सहूंगी तेरे बिना कैसे में जियूंगी तेरे बिना फिर तोड़ के यूँ दिल हमारा जा रहा है फिर छोड़ के तू बेसहारा जा रहा है तू कहाँ तू कहाँ आँखो में आँसू पहले ना थे हम तुम जब दोनो मिले ना थे तेरा मिलना ख्वाबो जैसा था टूटे हुए ख़यालो जैसा था ढूँढा है तुमको इन नज़रों में तेरा नाम है दिल की दीवारों पे फिर तोड़ के यूँ दिल हमारा जा रहा है फिर छोड़ के तू बेसहारा जा रहा है तू कहाँ (तू कहाँ) तू कहाँ अंजानो की तरह तुम खो गये क्यूँ दिल की रहो से गुम हो गये कैसे ये गुम सहूंगी तेरे बिना कैसे में जियूंगी तेरे बिना फिर तोड़ के यूँ दिल हमारा जा रहा है फिर छोड़ के तू बेसहारा जा रहा है तू कहाँ (तू कहाँ) तू कहाँ फिर तोड़ के यूँ दिल हमारा जा रहा है फिर छोड़ के तू बेसहारा जा रहा है तू कहाँ

Written by: Alisha Chinoy, Biddu, Shyam AnuragiLyrics © Raleigh Music Publishing LLC, Royalty NetworkLyrics Licensed & Provided by LyricFind

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