Rah Rah Ke Tera Dhyan Satata Hai
सुरैया
रह रह के तेरा ध्यान
रुलाता है क्या करूँ
हर दिन से मुझको तू
नज़र आता है क्या करूँ
रह रह के तेरा ध्यान
तेरी समझ में भी
नहीं आता है मेरा हाल
तेरी समझ में भी
नहीं आता है मेरा हाल
मेरी ज़बान पे भी
नहीं आता है क्या करूँ
मेरी ज़बान पे भी
नहीं आता है क्या करूँ
रह रह के तेरा ध्यान
ये मुझको क्या हुवा है
मुझे खुद खबर नहीं
मुझे खुद खबर नहीं
ये मुझको क्या हुवा है
मुझे खुद खबर नहीं
मुझे खुद खबर नहीं
हर वक़्त कोई याद ही
आता है क्या करूँ
हर वक़्त कोई याद ही
आता है क्या करूँ
रह रह के तेरा ध्यान
हैरा हु जब भी आँख से
आँसू टपकता है
हैरा हु जब भी आँख से
आँसू टपकता है
दिल की लगी को और
बढ़ाता है क्या करूँ
दिल की लगी को और
बढ़ाता है क्या करूँ
रह रह के तेरा ध्यान
Written by: Lyrics Licensed & Provided by LyricFind
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