Kal To Sunday Ki Chhuti
Rekha, R.D. Burman, Shailendra Singh
हम्म कल तो Sunday की छुट्टी है फिर किस बात को रोना है
हम्म्म्म क्या कहा तुमने
कल तो Sunday की छुट्टी है फिर किस बात को रोना है
आज रात भर हमको पगली जाग जाग के सोना है
हर पल तूम Sunday समझो बस इसी बात का रोना है
सुबह मुझे जल्दी उठना है इसलिय जल्दी सोना है
मैंने तो सोचा था मेरी हाँ में हाँ मिलाओगी
सुनके मेरी बात मेरी जान फुली नहीं समाओगी
मैंने तो सोचा था मेरी हाँ में हाँ मिलाओगी
सुनके मेरी बात मेरी जान फुली नहीं समाओगी
अरे वाह री किस्मत भरी जवानी में यह सितम भी होना है
सुबह मुझे जल्दी उठना है इसलिये जल्दी सोजाओ बाबा
हम्म्म्म
कभी कभी अच्छा लगता है मीठे मीठे ख्वाब आये
ख्वाब तभी आएंगे पगले जब हम जल्दी सो जाएँ
कभी कभी अच्छा लगता है मीठे मीठे ख्वाब आये (अच्छा)
ख्वाब तभी आएंगे पगले जब हम जल्दी सो जाएँ
धीरे धीरे प्यार के धागे में हर ख़्वाब पिरोना है
अरे आज रात भर हमको पगली जाग जाग के सोना है
नहीं क्या करे हो छोड़ो ना नहीं काहा न नहीं
नहीं छोड़ो ना
चाँद रात का यह कहना है एक बार तो प्यार से मिल
लाख न चाहूं फिर भी तेरी बातों में आजाये दिल
अरे चाँद रात का यह कहना है एक बार तो प्यार से मिल
लाख न चाहूं फिर भी तेरी बातों में आजाये दिल
जाने तेरी बातो में क्या ऐसा जादू टोना है
आज रात भर हमको पगली जाग जाग के सोना है
अरे कल तो Sunday की छुट्टी है फिर किस बात को रोना है
आज रात भर हमको (ल ला ला ला)
Written by: GULSHAN BAWRA, RAHUL DEV BURMANLyrics © Sony/ATV Music Publishing LLCLyrics Licensed & Provided by LyricFind
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