Raat Ke Barah Baje
Alka Yagnik, Amit Kumar, Anu Malik
ये शादी का दिन है शादी का दिन है शादी का दिन है शादी का दिन है
क्यूं भाई लखपति हा भाई प्रजापति
यहां तो लोग सब ऐसे बैठे है जैसे income tax की raid पड़ी है
पुलिस कड़ी है खटियां खड़ी है
अरे उठो नाचो गाओ हुल्लड़ मचाओ
ए रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
लोगो की पोल खुले
पोल खुली पोल खुले
कोई ना यहाँ बचे
यहाँ बचे यहाँ बचे
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
भैया तुम्हारा कितना दयालु
सबको खिलाता है पूरी आलू
वो नौकरानी को रबड़ी खिलाएं
धोबन जो आए तो हलवा चखाएं
भाभी बेचारी भूखी ही रह गयी (हेय)
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
भाभी तुम्हारी लगती है भोली
लेकिन है ये बंदूक की गोली
घडी घडी साड़ी का पल्लू गिराए
देवर को ऊँगली पे भाभी नचाए
दूर खड़ा भैया देखो हाथ मले (हेय)
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
हर शाम सासू बगियन में जाए
बूढ़ा है ससुरा कैसे घुमाएं
ससुरा तो गाड़ी चला ही ना पाएं
सासू की गाड़ी डीराईवर चलाए
Driver की तंख्वा ससुरा ही भरे
हाय
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
कहीं पे निगाहें कहीं पे निशाना
चाचा हमारा आशिक पुराना
प्यार पड़ोसन से करे बंगले में जाके
देख लिया चाची ने जंगले से आके
उस दिन से चाचा ना बिस्तर से उठे
होय
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
दुबई में मामा मामी सूरत में
पैदा हुआ बच्चा सारे हैरत में
कैसा हुआ बच्चा हमको बताओ
इस हादसे की कहानी सुनाओ
मामी बोली मामी बोली क्या बोली
चिठ्ठी में भेजा मामा ने इसे (हेय)
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे
रात के बारह बजे
चौक में हुल्लड़ मचे हे या
Written by: Brij BihariLyrics © Royalty Network, Sony/ATV Music Publishing LLCLyrics Licensed & Provided by LyricFind
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